कोलकाता, 27 मार्च (हि.स.)। पश्चिम बंगाल में कार्यस्थलों पर कम्प्यूटरीकरण का विरोध करने वाली मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) आगामी लोकसभा चुनावों के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) को एक प्रचार अभियान उपकरण के रूप में इस्तेमाल कर रही है। माकपा की इस नयी परियोजना की देखरेख करने वाले नेता समिक लाहिड़ी ने बुधवार को कहा कि समता (समानता) प्रचार अभियान संबंधी समाचार और लोगों के हितों से जुड़े अन्य मामलों के प्रचार-प्रसार के लिए एआई-जनित किरदारों का इस्तेमाल कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि लोग जो कहना चाहते हैं उसे सामने लाने के लिए हम कृत्रिम मेधा का उपयोग कर रहे हैं।
माकपा की केंद्रीय समिति के सदस्य लाहिड़ी ने कहा कि उनकी पार्टी के पश्चिम बंगाल के सोशल मीडिया हैंडल के एआई प्रेजेंटर समता को बंगाली भाषा में शुरू किया गया है और जल्द ही इसे हिंदी और अंग्रेजी भाषाओं में भी पेश किया जाएगा।
अस्सी के दशक के अंत और नब्बे के दशक की शुरुआत में कंप्यूटरीकरण भारत के कार्यस्थलों पर अपनी जगह बना रहा था और उस वक्त पश्चिम बंगाल में माकपा को अपने विपक्षियों द्वारा आधुनिकीकरण का विरोधी होने के आरोप का सामना करना पड़ रहा था।
लाहिड़ी ने कहा, ‘‘यह हमारे खिलाफ एक दुर्भावनापूर्ण अभियान था, (क्योंकि) माकपा ने कभी भी कम्प्यूटरीकरण का विरोध नहीं किया था।’’
उन्होंने कहा कि पार्टी ने कंप्यूटरीकरण के नाम पर कुछ निजी क्षेत्र के बैंकों में बड़े पैमाने पर छंटनी का विरोध किया था। हम हमेशा प्रगति के पक्षधर रहे हैं।