हिरासत में मौत के मामले में आठ पुलिसकर्मी दोषी, होंगे गिरफ्तार

मेरठ, 11 नवम्बर (हि.स.)। बुलंदशहर जनपद की खुर्जा कोतवाली में हिरासत में मौत के मामले में आठ पुलिसकर्मियों को दोषी पाया गया है। सीबीसीआईडी की रिपोर्ट के बाद शासन ने इन पुलिसकर्मियों की गिरफ्तारी के आदेश दिए हैं। यह सभी पुलिसकर्मी विभिन्न जनपदों में तैनात हैं।

खुर्जा कोतवाली नगर क्षेत्र के गांव कनैनी का रहने वाला सोनू उर्फ सोमदत्त छह दिसम्बर 2020 को अपने ही गांव की एक लड़की को लेकर फरार हो गया था। दबाव बढ़ने पर सोनू के परिजनों ने उसे आठ दिसम्बर को खुर्जा पुलिस को सौंप दिया था। इसके बाद से सोनू को खुर्जा नगर कोतवाली पुलिस ने हिरासत में रखा हुआ था। चार दिन बाद पुलिस ने कनैनी गांव में जाकर सोनू के परिजनों को बताया कि उसने हवालात में फांसी लगाकर जान दे दी है। इसके बाद पंचनामा हस्ताक्षर कराकर सोनू का अंतिम संस्कार कर दिया गया। सोनू के परिजनों की ओर से तत्कालीन इंस्पेक्टर मिथलेश उपाध्याय समेत तीन पुलिसकर्मियों के खिलाफ पुलिस हिरासत में मारपीट करके हत्या करने का आरोप लगाकर मुकदमा दर्ज कराया गया। इसके बाद पीड़ित पक्ष ने अदालत की शरण ली। अदालत ने शासन को पूरे प्रकरण की जांच कराने का आदेश दिया।

शासन ने सीबीसीआईडी को मामले की जांच सौंप दी। पुलिस सूत्रों के मुताबिक जांच अधिकारी सीओ राशिद अली ने इंस्पेक्टर मिथलेश उपाध्याय, रिटायर्ड दारोगा रामसेवक, ओमप्रकाश, हेड कांस्टेबल प्रदीप, कांस्टेबल सौरभ, जीवन लाल तथा दो होमगार्ड को दोषी माना। उनके खिलाफ चार्जशीट लगाकर शासन को पत्रावली भेजी गई। जिस पर शासन ने सभी पुलिसकर्मियों को दोषी मानते हुए उनकी गिरफ्तारी के आदेश दिए। ये पुलिसकर्मी सहारनपुर, आगरा, बुलंदशहर में तैनात हैं। सभी पुलिसकर्मियों के खिलाफ आरोप पत्र भी कोर्ट में दाखिल कर दिया गया है।